Colors of Rainbow: Blogs of Engr Maqbool Akram
Friday, 13 December 2024
परवीन शाकिर छोटी उम्र बड़ी जिंदगी वो शायरा जिनके शेरों में धड़कता है आधुनिक नारी का दिल- दिल को उस राह पे चलना ही नहीं, जो मुझे तुझ से जुदा करती है
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26 दिसंबर , 1994 की सुबह परवीन शाकिर ने अपने बेटे मुराद के साथ नाश्ता किया और ऑफिस के लिए निकल पड़ीं । घर के पास ही फै...
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